Movie/Album: क्राय फॉर क्राय (1970)
Music By: जगजीत सिंह
Lyrics By: अल्लामा इक़बाल
Performed By: सिज़ा रॉय
लब पे आती है दुआ बन के तमन्ना मेरी
ज़िन्दगी शम्मा की सूरत हो ख़ुदाया मेरी
लब पे आती है...
हो मेरे दम से यूँ ही मेरे वतन की ज़ीनत
जिस तरह फूल से होती है चमन की ज़ीनत
ज़िन्दगी हो मेरी परवाने की सूरत या रब
इल्म की शम्मा से हो मुझ को मोहब्बत या रब
हो मेरा काम ग़रीबों की हिमायत करना
दर्द-मंदों से, ज़ईफ़ों से, मोहब्बत करना
मेरे अल्लाह बुराई से बचाना मुझको
नेक जो राह हो उस रह पे चलाना मुझको
मेरे अल्लाह बुराई...
लब पे आती है - Lab Pe Aati Hai (Siza Roy, Cry For Cry)
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